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फसलों के पास नहीं जाएंगे छुट्टा जानवर, ऐसा पहरा बैठाएगी सरकार, ये स्कीम किसानों के लिए वरदान

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Solar Fencing System : कृषि विभाग की ये स्कीम किसानों की टेंशन खत्म कर सकती है. अब उन्हें रातों में पहरा नहीं देना होगा. छुट्टी जानवर खुद खेतों के करीब नहीं आएंगे. कैसे मिलेगा लाभ, जानें पूरा प्रोसेस.

चित्रकूट. बुंदेलखंड के किसानों के लिए खेती कभी आसान नहीं रही. कभी सूखा, कभी पैसों की दिक्कत, ऊपर से छुट्टा जानवरों का तांडव. लेकिन अब सरकार ने इस परेशानी का हल निकाल लिया है. अब किसानों की फसलें महफूज रहेंगी. छुट्टा जानवरों से किसानों की फसलें खुद सरकार बचाएगी. ये स्कीम किसानों की टेंशन खत्म कर सकती है. अब उनकी रातों की नींद खराब नहीं होगी. छुट्टी जानवर खेतों के करीब नहीं आएंगे.

कृषि विभाग ने चित्रकूट में सोलर फेंसिंग सिस्टम योजना लागू की है. इसके तहत किसानों को अपने खेतों के चारों ओर सोलर आधारित तारबंदी करने का मौका मिल रहा है. इससे खेतों के पास भटकते छुट्टा जानवर अब फसलों तक नहीं पहुंच पाएंगे. योजना के तहत किसानों को 80% तक अनुदान दिया जाएगा, जिसका किसान आसानी से लाभ ले सकते हैं और इस समस्या को दूर कर सकते हैं. कृषि विभाग का कहना है कि यह जानवरों हल्का सा करंट जैसे झटका देता है. जिससे जानवरों को भी कोई नुकसान नहीं है और फसल भी बच जाएगी.

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कैसे मिलेगा लाभ, ये रहा तरीका

चित्रकूट के कृषि उपनिदेशक राजकुमार बताते हैं कि इस योजना के तहत खेतों में सोलर फेंसिंग के लिए कम से कम 5 किसानों का समूह बनाया जाएगा, जिनके पास कुल मिलाकर 10 हेक्टेयर भूमि होनी चाहिए. योजना का लाभ लेने के लिए किसानों को आधार कार्ड, खतौनी और बैंक पासबुक जमा करनी होगी. सोलर फेंसिंग सिस्टम की कुल लागत 834 रुपए प्रति मीटर है, जिसमें 80 प्रतिशत की सब्सिडी सरकार दे रही है, जबकि केवल 20 प्रतिशत राशि किसान को खुद वहन करनी है. यह व्यवस्था खासतौर पर छुट्टा जानवरों से किसानों को निजात दिलाने के लिए शुरू की गई है. कृषि उपनिदेशक ने बताया कि अब चित्रकूट में इसके लिए 20 आवेदन आ चुके हैं.

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फसलों के पास नहीं जाएंगे छुट्टा जानवर, ऐसा पहरा बैठाएगी ये स्कीम

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