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बाढ़ बनकर आई आफत! हनुमान जी भी डूबे पानी में, देखें प्रयागराज से तबाही की चौंकाने वाली तस्वीरें

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प्रयागराज का संगम क्षेत्र इस समय बाढ़ के चलते समुद्र में तब्दील हो गया है. गंगा का जलस्तर इतना बढ़ गया है कि बड़े हनुमान मंदिर तक पानी पहुंच चुका है और अब हनुमान जी के ऊपर से गंगा की धारा बह रही है. गंगा के किनारे बसे मोहल्ले भी खतरे की जद में हैं. ऐसे में संगम आने वाले श्रद्धालु अब मंदिर के बाहर ही स्नान कर पूजा-पाठ करके लौट रहे हैं. पूरा संगम क्षेत्र जलमग्न है, जिससे हालात गंभीर बने हुए हैं.

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प्रयागराज संगम इस समय बाढ़ की वजह से समुद्र हो गया है. जहां तक नजरे जाएगी वहां तक पानी ही अपनी नजर आएगा. खास बात यह है कि प्रयागराज संगम पर स्थित बड़े हनुमान मंदिर भी अब बाढ़ में डूब गया है.

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बाढ़ को देखते हुए संगम स्थित बड़े हनुमान मंदिर में अब भक्तों को जाने से रोक दिया गया है. वहीं, प्रशासन अपील कर रहा है कि बाढ़ खत्म होने के बाद ही भक्त बड़े हनुमान जी का दर्शन करने आएं.

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आपको बता दें कि पहाड़ों पर हो रही बारिश और गंगा-यमुना में छोड़े जा रहे डैम के पानी की वजह से जलस्तर काफी ऊपर आ चुका है, जिसके चलते प्रयागराज और गंगा-यमुना के तटीय इलाकों में स्थित मोहल्ले डूबने के कगार पर हैं.

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गंगा की बाढ़ का असर सबसे पहले दारागंज मोहल्ले में देखने को मिलता है, क्योंकि यह इलाका गंगा जी के प्रवाह क्षेत्र से एकदम सटा हुआ है. जैसे ही जलस्तर ऊपर उठता है, यहां किनारे स्थित घरों में सबसे पहले पानी घुसने लगता है.

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बाढ़ आने से पहले प्रयागराज संगम क्षेत्र में स्थित बड़े हनुमान मंदिर फूलों से सजा रहता था, लेकिन अब गंगा जी के जलाभिषेक के बाद वह स्नान कर रहे हैं. उनके ऊपर से गंगा जी की धारा बह रही है.

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वहीं प्रयागराज संगम आने वाले श्रद्धालु इस समय बड़े हनुमान मंदिर के सामने ही स्नान, ध्यान और पूजा-उपासना कर रहे हैं, क्योंकि अब संगम तक पहुंचना खतरे से खाली नहीं है.

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संगम क्षेत्र के दारागंज में स्थित श्मशान घाट भी अब सड़क तक पहुंच गया है. जलस्तर बढ़ने के कारण लकड़ियों को घाट से निकालकर सड़क पर रखा गया है. तस्वीरों में साफ देखा जा सकता है कि गंगा की चौड़ाई अब लगभग 3 किलोमीटर से अधिक हो चुकी है.

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गंगा के किनारे स्थित बक्शी बंध, जो शहर के नाले के पानी को शुद्ध कर गंगा में छोड़ता है, अब चारों ओर से पानी से घिर चुका है. स्थिति की गंभीरता को देखते हुए बक्शी बंध पर सुबह-शाम टहलने वालों की आवाजाही पर भी रोक लगा दी गई है.

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बड़े हनुमान मंदिर का गलियारा (कॉरिडोर) बनने के बाद अब बाढ़ का पानी मंदिर की दीवार के अंदर तो पहुंच गया है, लेकिन पहले जैसा नजारा नहीं रह गया है. पहले जहां श्रद्धालु बड़ी संख्या में गंगा में डुबकी लगाकर पूजा करते थे, वहीं अब कॉरिडोर निर्माण के चलते मुख्य गेट पर ताला लगा दिया गया है और लोगों का प्रवेश पूरी तरह से बंद कर दिया गया है.

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