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‘गर्लफ्रेंड बार-बार’ किसान के बेटे अभि जैन बन गए IAS, मिली 34वीं रैंक, बोले – ‘प्रेमिका मुझे कुछ बड़ा…’ – abhi jain secured all india 34th rank in upsc result 2024 become IAS due to Girlfriend used to say one thing repeatedly incredible success story

आखरी अपडेट:

Abhi Jain IAS Success Story : यह कहानी है प्रयागराज के प्रधान डाकघर में पोस्टेड अभि जैन की, जिन्होंने UPSC में ऑल इंडिया 34वीं रैंक पाई है. अभि जैन अपनी सक्सेस का श्रेय पिता-भाई के साथ-साथ अपनी गर्लफ्रेंड को भी…और पढ़ें

गर्लफ्रेंड बार-बार बोलती थी एक ही बात, प्यार से ले लिया दिल पर, बन गए IAS

प्रयागराज के अभि जैन की UPSC में ऑल इंडिया 34वीं रैंक आई है, पांचवे प्रयास में बने IAS…

हाइलाइट्स

  • अभि जैन ने UPSC में 34वीं रैंक पाई.
  • गर्लफ्रेंड की प्रेरणा से IAS बने अभि जैन.
  • प्रयागराज के प्रधान डाकघर में पोस्टेड हैं अभि जैन.

प्रयागराज. प्रयागराज के प्रधान डाकघर में सीनियर सुपरिटेंडेंट ऑफ पोस्ट ऑफिस में मंगलवार को अभि जैन के फोन की अचानक घंटी बजी. फोन उठाते ही दूसरी ओर से ऐसी खबर मिली कि वह खुशी से झूम उठे. खबर मिली कि UPSC में उनकी ऑल इंडिया 34वीं रैंक आई है. अभि जैन अपनी सक्सेस का श्रेय पापा भाई के साथ ही गर्लफ्रेंड को भी देते हैं. वह कहते हैं कि मेरी गर्लफ्रेंड गवर्नमेंट जॉब में है. जब भी मैं अपने प्रयास में असफल होता था तो वह कहती थी कि मैं सरकारी नौकरी में हूं. तुम्हें मुझसे भी कुछ बड़ा करना होगा. मैंने उसकी इस बात को प्यार से दिल में उतारा. यूपीएससी को अपना लक्ष्य बना लिया. यह मेरा पांचवां प्रयास था. पिछले चार अटेम्ट में सक्सेस नहीं मिल रही थी जब बड़े भाई ने मुझे सिलेक्शन की जानकारी दी तो मैं इमोशनल हो गया.

अभि ने बताया, ’20 साल की उम्र में 2020-2021 में पहली बार सिविल सेवा के लिए अटेम्प किया. दूसरे प्रयास में 282वीं रैंक आई. तीसरे प्रयास में फाइनल लिस्ट में नाम ही नहीं आया. चौथे प्रयास में प्री ही क्लियर नहीं हुआ. अब पांचवे प्रयास में 34वीं रैंक आई है. कभी भी रिजल्ट का दुख-सुख नहीं मना पाया.’

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गर्लफ्रेंड को क्रेडिट देने की वजह के बारे में खुलकर बताते हुए अभि ने कहा, ‘ईमानदारी को नहीं छोड़ सकता. सच यही है कि मेरी इस सफलता में मेरी गर्लफ्रेंड का भी बड़ा रोल है. पांचवें प्रयास में उसने मुझे बहुत मोटिवेट किया. वो खुद गवर्नमेंट जॉब में है. मुझसे कुछ बड़ा कर दिखाने की बात हर समय कहती थी.’

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अभि फिलहाल प्रधान डाकघर में पोस्टेड हैं. उन्हें यह पोस्टिंग ने 4 अक्टूबर, 2024 को मिली थी. नवंबर में प्रयागराज में आयोजित होने वाले महाकुंभ की तैयारियों में वो जुट गए. उन्हें मेलाधिकारी बनाया गया था. कई बार फील्ड पर गए और पूरी रात वहां काम किया. पढ़ाई के लिए जितना भी समय मिला, उन्होंने उसका सही उपयोग किया.

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परिवार के बैक ग्राउंड के बारे में बताते हुए अभि ने बताया, ‘मेरे पिता खेती-किसानी करते थे. परिवार की आर्थिक स्थिति बहुत अच्छी नहीं थी.’ उन्होंने यह भी बताया कि बिना कोचिंग के उन्होंने सफलता अर्जित की है.

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